Skip to content

हिन्दी वर्णमाला अ से ज्ञ तक (Hindi Varnamala a se gya tak)

यदि आप सीखना चाहते हें हिन्दी वर्णमाला अ से ज्ञ तक (Hindi Varnamala a se gya tak ) तो इस पोस्ट में मैं पूरी जानकारी देने वाली हूँ। तो दोस्तों इसे ध्यान से पढिए और समझिए हिंदी के सभी वर्णों को।

हिन्दी वर्णमाला अ से ज्ञ तक (Hindi Varnamala a se gya tak)

वर्णमाला का परिचय

वर्णमाला किसी भी भाषा का आधार होती है। यह उन अक्षरों का समूह होता है जिनसे शब्द बनते हैं। हिन्दी वर्णमाला 13 स्वर और 33 व्यंजन अक्षरों से मिलकर बनी होती है। आइए, अब हम इसे विस्तार से समझते हैं।

यहां हिंदी वर्णमाला का संक्षिप्त विवरण दिया गया है:

स्वर (स्वर): हिंदी में 11 स्वर होते हैं और 2 अनुस्वार अं अः होते हैं। उन्हें मात्रा नामक प्रतीकों द्वारा दर्शाया जाता है, जो एक विशिष्ट ध्वनि बनाने के लिए ऊपर, नीचे या व्यंजन के चारों ओर रखे जाते हैं। स्वर हैं:

अ, आ, इ, ई, उ, ऊ, ऋ, ए, ऐ, ओ, औ, अं, अः

व्यंजन (व्यंजन): हिंदी में 36 व्यंजन हैं। प्रत्येक व्यंजन एक अद्वितीय ध्वनि का प्रतिनिधित्व करता है और एक विशिष्ट प्रतीक द्वारा दर्शाया जाता है। व्यंजन हैं:

क ख ग घ ङ,
च छ ज झ ञ,
ट ठ ड ढ ण,
त थ द ध न,
प फ ब भ म,
य र ल व,
श ष स ह
क्ष त्र ज्ञ।

स्वर वर्ण

स्वर की परिभाषा

स्वर वे अक्षर होते हैं जो बिना किसी सहारे के उच्चारित होते हैं। हिन्दी में 13 स्वर होते हैं।

अ आ इ ई उ ऊ ऋ ए ऐ ओ औ अं अः

इन स्वर को निम्नलिखित भागो में विभाजित किया गया है-

ह्रस्व स्वर

ह्रस्व स्वर छोटे होते हैं और इनका उच्चारण कम समय में होता है।

‘अ’ सबसे पहला और मूल स्वर है। यह बिना किसी मुँह के अतिरिक्त खोलने के उच्चारित होता है।

‘इ’ को उच्चारने के लिए मुँह को हल्का सा खोलना होता है और जीभ को ऊपरी तालू से लगाना पड़ता है।

‘उ’ को उच्चारने के लिए होंठ गोल होते हैं और जीभ को पीछे की ओर मोड़ा जाता है।

‘ऋ’ का उच्चारण बहुत कम भाषाओं में होता है और यह एक विशिष्ट ध्वनि है।

दीर्घ स्वर

दीर्घ स्वर लंबे होते हैं और इनका उच्चारण अधिक समय लेता है।

‘आ’ को ‘अ’ से थोड़ा अधिक खोलकर उच्चारित किया जाता है।

‘ई’ का उच्चारण ‘इ’ की तरह होता है लेकिन इसे अधिक समय तक खींचा जाता है।

‘ऊ’ का उच्चारण ‘उ’ की तरह होता है लेकिन इसे अधिक समय तक खींचा जाता है।

‘ए’ को उच्चारने के लिए जीभ को थोड़ा ऊपर उठाना होता है।

‘ऐ’ का उच्चारण ‘ए’ की तरह होता है लेकिन इसे थोड़ा अधिक फैलाया जाता है।

‘ओ’ को उच्चारने के लिए होंठों को गोल करना पड़ता है।

‘औ’ का उच्चारण ‘ओ’ की तरह होता है लेकिन इसे अधिक समय तक खींचा जाता है।

व्यंजन वर्ण

व्यंजन की परिभाषा

व्यंजन वे अक्षर होते हैं जो स्वर के साथ मिलकर उच्चारित होते हैं। हिन्दी में 33 व्यंजन होते हैं।

स्पर्श व्यंजन

स्पर्श व्यंजन वे होते हैं जिनका उच्चारण करते समय जीभ या होंठ किसी स्थान को स्पर्श करते हैं।

क वर्ग

  • : इसे गले से उच्चारित किया जाता है।
  • : ‘क’ के साथ हल्का सा हवा का धक्का लगता है।
  • : इसे गले से उच्चारित किया जाता है।
  • : ‘ग’ के साथ हल्का सा हवा का धक्का लगता है।
  • : इसे गले से उच्चारित किया जाता है।

च वर्ग

  • : इसे तालू से उच्चारित किया जाता है।
  • : ‘च’ के साथ हल्का सा हवा का धक्का लगता है।
  • : इसे तालू से उच्चारित किया जाता है।
  • : ‘ज’ के साथ हल्का सा हवा का धक्का लगता है।
  • : इसे तालू से उच्चारित किया जाता है।

ट वर्ग

  • : इसे मुह के बीच से उच्चारित किया जाता है।
  • : ‘ट’ के साथ हल्का सा हवा का धक्का लगता है।
  • : इसे मुह के बीच से उच्चारित किया जाता है।
  • : ‘ड’ के साथ हल्का सा हवा का धक्का लगता है।
  • : इसे मुह के बीच से उच्चारित किया जाता है।

त वर्ग

  • : इसे दांतों से उच्चारित किया जाता है।
  • : ‘त’ के साथ हल्का सा हवा का धक्का लगता है।
  • : इसे दांतों से उच्चारित किया जाता है।
  • : ‘द’ के साथ हल्का सा हवा का धक्का लगता है।
  • : इसे दांतों से उच्चारित किया जाता है।

प वर्ग

  • : इसे होंठों से उच्चारित किया जाता है।
  • : ‘प’ के साथ हल्का सा हवा का धक्का लगता है।
  • : इसे होंठों से उच्चारित किया जाता है।
  • : ‘ब’ के साथ हल्का सा हवा का धक्का लगता है।
  • : इसे होंठों से उच्चारित किया जाता है।

अन्तःस्थ व्यंजन

  • : इसे जीभ के बीच से उच्चारित किया जाता है।
  • : इसे जीभ की नोक से उच्चारित किया जाता है।
  • : इसे जीभ के किनारे से उच्चारित किया जाता है।
  • : इसे होंठों से उच्चारित किया जाता है।

ऊष्म व्यंजन

  • : इसे जीभ और तालू के बीच से उच्चारित किया जाता है।
  • : इसे जीभ और तालू के बीच से उच्चारित किया जाता है।
  • : इसे जीभ और दांतों के बीच से उच्चारित किया जाता है।
  • : इसे गले से उच्चारित किया जाता है।

संयुक्त व्यंजन

  • क्ष: यह ‘क’ और ‘ष’ के मिश्रण से बनता है।
  • त्र: यह ‘त’ और ‘र’ के मिश्रण से बनता है।
  • ज्ञ: यह ‘ज’ और ‘ञ’ के मिश्रण से बनता है।
  • श्र: यह ‘श’ और ‘र’ के मिश्रण से बनता है।

हिंदी वर्णमाला चार्ट (Hindi Varnamala Chart)

हिंदी वर्णमाला स्वर और व्यंजन के 52 वर्ण निम्नलिखित रूप में विभाजित किया गया है।

नामवर्णों की संख्याहिंदी वर्ण माला
स्वर (Vowel)11अ, आ, इ, ई, उ, ऊ, ऋ, ए, ऐ, ओ, औ
व्यंजन (Consonant)33क ख ग घ ङ, च छ ज झ ञ, ट ठ ड ढ ण, त थ द ध न, प फ ब भ म, य र ल व, श ष स ह
संयुक्त व्यंजन4क्ष त्र ज्ञ श्र
द्विगुण व्यंजन2ड़ ढ़
अनुस्वार यानि चंद्रबिंदु1अं (ं) या अँ (ँ)
विसर्ग 1अः या (:)
Hindi Varnamala Chart | Chart of Hindi Alphabet

अ से ज्ञ तक स्वर व्यंजन वर्णमाला – Hindi Varnamala chart with pictures

Varnamala in Hindi | A se Gya Tak Hindi Alphabet | अ से ज्ञ तक वर्णमाला चित्र सहित
Varnamala in Hindi | A se Gya Tak Hindi Alphabet | अ से ज्ञ तक वर्णमाला चित्र सहित

क से ज्ञ तक हिंदी अल्फाबेट प्रेक्टिस वीडियो


अ से ज्ञ तक वर्णमालाEnglish SoundHindi & English Shabd
aअनार – Anaar
aaआम – Aam
iइमली – Imalee
eeईख – Eekh
uउल्लू – Ulloo
ooऊन – Oon
eएड़ी – Ek
aiऐनक – Ainak
oओखली – Okhalee
ouऔरत – Aurat
अंanअंगूर – Angoor
अःaha
kaकबूतर – Kabutar
khaखरगोश – Kharagosh
gaगमला – Gamla
ghaघड़ी – Ghadi
na
chaचम्मच – Chammach
chhaछतरी – Chhatri
jaजहाज – Jahaj
jhaझंडा – Jhanda
na
taटमाटर – Tamatar
thaठग – Thag
daडमरू – Damru
dhaढक्कन – Dhakkan
na
taतरबूज – Tarbuj
thaथरमस – Tharmas
daदवाई – Dawai
dhaधनुष – Dhanush
naनल – Nal
paपतंग – Patang
phaफल – Phal
baबकरी – Bakri
bhaभालू – Bhallu
maमहल – Mahal
yaयज्ञ – Yagya
raरस्सी – Rassi
laलहसुन – Lahasun
va/waवन – Van
shaशलजम – Shaljam
shaषटकोण – Shatkon
saसरौता – Sarauta
haहल – Hal
क्षkshaक्षत्रिय – Kshatriya
त्रTraत्रिसूल – Trisool
ज्ञjna/gyaज्ञानी – Gyani
श्रshraश्रमिक – Shramik
riऋषि – Rshi

Hindi Varnamala Chart PDF Download – (क ख ग घ वर्णमाला pdf)

(हिंदी वर्णमाला स्वर और व्यंजन pdf) Click Here to Download Hindi Varnamala Chart PDF Download

अ से अनार हिंदी वर्णमाला

स्वरशब्दवाक्य
अनारअनार बीमरी में काम आये।
खट्टा-मिट्ठा सबको भाये।।
आमसबसे बढ़िया फल है आम।
कौन न जाने इसका नाम।।
इमलीइमली मुँह में पानी लाये।
खाने को स्वादिष्ट बनाये।।
ईखगन्ने को कहते हैं ईख।
इसके सभी गुणों को सीख।।
उल्लूउल्लू रात को मौज उड़ाये।
लेकिन दिन में देख न पाये।।
ऊँटऊँट रेगिस्तान में चलता जाये।
पानी बिना कई दिन रह जाये।।
ऋषितप करना है ऋषि का काम।
सदैव जपता है राम का नाम।।
एकताराएकतारा मीरा ने बजाया।
कृष्ण प्रेम का गीत सुनाया।
ऐनकसाफ-साफ दिखलाये ऐनक।
धूल-धूप से बचाये। ऐनक।।
ओखलीगाँव में ओखली देखी जाये।
धान कूटने के काम आये।।
औरतमाँ औरत है, दादी औरत है।
नानी औरत, बहन भी औरत।।
अंअंगूरअंगूर है मोती जैसा फल।
भरा है इसमें मीठा जल।।
अः
अ से अनार हिंदी वर्णमाला

क से कबूतर हिंदी वर्णमाला

व्यंजनशब्दवाक्य
कमलतलाब में खिलता है कमल।
हमारा राष्ट्रीय फूल है कमल।।
खरगोशप्यारा-प्यारा है खरगोश।
सबसे न्यारा है खरगोश।।
गमलागमला में हैं निराले फूल।
पानी देना करना न भूल।।
घरघड़ी कभी न रुकती, चलती रहती।
हरदम टिक-टिक करती रहती।।
ड़
चरखाचरखा है लकड़ी की मशीन।
सूत काटता है बड़ा महीन।।
छाताबारिश में काम आये छतरी।
सबके मन को भाये छतरी।।
जहाजजहाज चले सागर के जल में।
मछली, मोती नीचे तल में।।
झरनाझरना का है शीतल जल।
मन नहाने को जाये मचल।।
टमाटरलाल टमाटर कोमल है।
कितना सुन्दर यह फल है।।
ठगठग वह लोग कहलाते हैं।
जो बेईमानी से धन लाते हैं।।
डमरूडमरू बजता डम-डम-डम।
घुँघरू बजता छम-छम-छम।।
ढक्कनढक्कन से बरतन ढकते हैं।
चीज सुरक्षित रखते हैं।।
तरबूजतरबूज है एक रसीला फल।
हरा दिखता, पर लाल है अन्दर।।
थनथन है एक अनमोल धन।
दूध पिये बछड़ा और हम।।
दवातदवात लिखने के काम आये।
सबके घर में देखा जाये।।
धनुषपहले कभी बन्दूक न थी जब।
धनुष से काम चलाते थे सब।।
नलनल में पानी बहता है।
सबके घर में रहता है।।
पपीतापपीता है बहुत मीठा फल।
बीज हैं काले, पीला है फल।
फलफल पानी से धोकर खाओ।
स्वाद भी लो, और स्वास्थ्य बनाओ।।
बकरीबकरी घास और अन्न खाती है।
ब्च्चों को दुध पिलाती है।।
भालूभालू जंगली जानवर है, मदारी इसे पालता है।
शहद और मांस खाता है, बच्चों को नाय दिखाता है।।
मछलीमछली जल की रानी है।
जीवन इसका पानी है।।
यज्ञयज्ञ होता है ऐसा जाप।
जिससे धुल जाते हैं पाप।।
रथराज सवारी रथ कहलाई।
राजाओं के मन को भाई।।
लट्टूलट्टू नाचे घूम-घूम।
बच्चे देखें झूम-झूम।।
वकीलवकील का काम है इंसाफ दिलवाना।
झूठ और सच की पहचान करवाना।।
शरीफाशरीफा खाओ सभी लोग।
रहोगे हमेशा तुम निरोग।।
षट्कोणखाली मत बैठो, कुछ तो करो।
षट्कोण बनाकर रंग भरो।।
सपेरासपेरा बीन बजाता है।
सर्प का नाच दिखाता है।।
हलहल जोतता है खेत खलिहान।
अन्न उगाता है किसान।।
क्षक्षत्रियरणभूमि में जो हाथ दिखाये।
वह योद्धा क्षत्रिय कहलाये।।
त्रत्रिशूलत्रिशूल है लड़ने का हथियार।
शत्रु पर करता है वार।।
ज्ञज्ञानीज्ञानी ने यह बात बतलायी।
सारे मानव भाई-भाई।।
क से कबूतर हिंदी वर्णमाला

Hindi Alphabet Writing Practice Book pdf

सारांश

हिन्दी वर्णमाला हमारी भाषा की आत्मा है अतः हिन्दी भाषा को सीखने के लिए इसे समझना और सीखना आवश्यक है।

दोस्तो आशा करती हूँ यह पोस्ट आपको अच्छी लगी होगी। इसे दोस्तों के साथ शेयर कीजिए और हमारा मनोवल बढ़ाइए ताकि इसी प्रकार से आगे भी अच्छी अच्छी जानकारी आप के शाथ शेयर कर सकूँ। अगले पोस्ट में हम जानेगें मात्रा वाले शब्द। धन्यवाद!

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Neha Kumari

Neha Kumari